🕉️🎯👌🏻श्री हरिपुरुषाय नमः🌍🫂
Sadho indriya khay jag sara Malook Das
साधो इंद्रिय खाय गई जग सारा।
निसदिन चरा करे बन काया, कोई न हाँकनहारा॥
पीव रक्त करे तन झंझरा, सरबस जाय नसाई।
जैसी भाँति काठ घुन लागै, बहुरि रहै फुकलाई॥
होता बीज औट के लोहू, सो देही का राजा।
ऐसी वस्तु अकारथ खोवै, अपना करै अकाजा॥
मनुवा मार भजै भगवंता, या मति कबहुँ न ठाना।
जियरा दोय घरी के सुख को, कहे मलूक दीवाना॥